Sunday, September 17, 2006

मेरा पहला ब्लॉग

इंटरनेट प्रयोग करते हुए वर्षों बाद अपना पहला ब्लाग लिखते समय एक सुखद अनुभव हो रहा है। इंटरनेट ने दुनिया भर के लोगों के मध्य संवाद को कितना सरल एवं सहज बना दिया है। अब तक इंटरनेट का प्रयोग मैं नयी नयी सूचनाओं की खोज एवं मित्रों से संवाद अर्थात् चैटिंग में करता आया हूं परंतु ब्लाग लिखना एक अलग ही अनुभव है। कई मित्रों के ब्लाग मैंने देखे और जाना कि लोग कितनी खूबसूरती से इसका प्रयोग अपने विचारों को अभिव्यक्त करने के लिये कर रहे हैं। सो मैने सोचा कि क्यों ना मैं भी इस बहती गंगा में कूद पडूं। पहले मैं अक्सर डायरी लिखा करता था परंतु ब्लाग में सबसे बढिया बात ये है कि इसे एक डायरी के रूप में इस्तेमाल के साथ साथ दोस्तों को भी उपलब्ध कराया जा सकता है। साथ ही इस पर मित्रों की प्रतिक्रिया जानना भी एक अच्छा अनुभव होगा।सबसे अच्छी बात जिसके कारण मैं ब्लाग लिखने के लिए प्रेरित हुआ वो है युनीनागरी जैसे सरल सॉफ्टवेयर की उपलब्धता। मेरा एसा मानना है कि इंसान जो अभिव्यक्त करना चाहता है वो उसके दिल से निकलता है और दिल से निकले हुए शब्दों की अभिव्यक्ति मातृभाषा में हो तभी वह सार्थक है।

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